बलरामपुर जनपद आकांक्षी जनपदों में शामिल है। इसलिए नीति आयोग के सुझाव पर बॉर्डर एरिया डेवलपमेंट प्रोग्राम के अंतर्गत बलरामपुर जिले के चार आकांक्षी विकासखंडों में छात्राओं की उच्च शिक्षा को बेहतर बनाने पर जोर दिया जा रहा है। पिछड़े क्षेत्र की बेटियों को उच्च शिक्षा आसानी से मिले इसके लिए चार ब्लॉक में महिला महाविद्यालय के साथ छात्रावास के स्थापना की भी रणनीति बनाई गई है।
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तत्कालीन जिलाधिकारी ने भेजा था प्रस्ताव
बॉर्डर एरिया डेवलपमेंट प्रोग्राम के तहत तत्कालीन जिलाधिकारी महेंद्र कुमार ने बलरामपुर जिले के चार आकांक्षी विकासखंडों में बेटियों को उच्च शिक्षा देने के उद्देश्य से राजकीय महिला महाविद्यालय की स्थापना पर जोर दिया था। महाविद्यालय के साथ-साथ बेटियों को नजदीक में ठहरने के लिए छात्रावास निर्माण का भी प्रस्ताव केंद्र एवं राज्य सरकार को भेजकर बजट के मांग की रणनीति बनाई गई थी।
इन विकासखंडों में होगी महिला महाविद्यालय की स्थापना
भारत नेपाल सीमा से सटे विकासखंड पचपेड़वा, तुलसीपुर, गैसड़ी और हरैया सतघरवा की छात्राओं को उच्च शिक्षा दिलाने के लिए नीति आयोग के सुझाव पर राजकीय महाविद्यालयों की स्थापना करने का निर्णय लिया गया। दूरदराज की छात्राओं को ठहरने के लिए इन चारों विकास खण्डों में बेहतर संसाधनों से लैस छात्रावास का भी निर्माण करने की कार्ययोजना तैयार की गई है। बॉर्डर परिया डेवलपमेंट प्रोग्राम के तहत जिले के चार विकासखंड पहाड़ी, तराई एवं थारू क्षेत्र से जुड़े हुए हैं। विकास के उद्देश्य से इन चारों ब्लॉक में महिला महाविद्यालय एवं छात्रावास की आवश्यकता है। इसी के उद्देश्य से इन चारों विकासखंडों में शासन को जिले से नीति आयोग के सुझाव पर महिला महाविद्यालय स्थापना के लिए प्रस्ताव तैयार कर बजट की मांग की गई है।
पचपेड़वा, हरैया सतघरया, गैसड़ी और तुलसीपुर में चारों विकासखंडों में छात्राओं की नीति आयोग के सुझाव पर उच्च शिक्षा एवं ठहरने को लेकर राजकीय महिला महाविद्यालय एवं छात्रावास के निर्माण का पूर्व में ही खाका तैयार किया जा चुका है। जिसके स्थापना का प्रस्ताव केंद्र एवं राज्य सरकार को भेजा गया है - पवन अग्रवाल जिलाधिकारी बलरामपुर